जालंधर : एपीजे कॉलेज ऑफ फाइन आर्ट्स जालंधर के विद्यार्थियों ने पंजाबी विभाग के निर्देशन में मंच पर प्रदर्शित नाटक की बारीकियों को समझने के लिए पंजाब नाटशाला अमृतसर का दौरा किया। वहां उन्हें पंजाब के प्रतिष्ठित नाटककार सरदार जितेंद्र बराड़ द्वारा लिखित एवं सरदार जसवंत मिंट्टू द्वारा निर्देशित साका जलियांवाला बाग नाटक देखने का सुअवसर प्रदान किया गया। इस नाटक के माध्यम से 13 अप्रैल 1919 को जलियांवाला बाग में हुए दर्दनाक हत्याकांड के बारे में एवं उस समय के अविभाजित पंजाब के महत्वपूर्ण तथ्यों से विद्यार्थियों को अवगत करवाया गया। इस नाटक का मंचन विशेष रूप से एपीजे कॉलेज आफ फाइन आर्ट्स जालंधर के विद्यार्थियों के लिए किया गया। इस नाटक की मंचन के दौरान विद्यार्थियों ने नाटक के दौरान प्रकाश व्यवस्था, साउंड के प्रभाव की गहनता को समझा। प्राचार्य डॉ नीरजा ढींगरा ने विद्यार्थियों के लिए नाटक का सफलतापूर्वक मंचन करने के लिए पंजाब नाटशाला की टीम का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि आज की युवा पीढ़ी को देश के इतिहास के महत्वपूर्ण पहलुओं से परिचित करवाना जरूरी है कि किस तरह हमारे देश के शहीदों ने बैसाखी के पावन त्यौहार वाले दिन अंग्रेजों की तशद्दत का सामना किया था और आजादी प्राप्त करने के लिए नींव का काम किया था, उन्होंने कहा नाटक के रूप में ऐतिहासिक घटना को देखकर विद्यार्थी उससे ज्यादा जुड़ पाते हैं और उसकी गंभीरता को समझ लेते हैं। विद्यार्थियों को आजादी के महत्व से परिचित करवाना एवं उसके लिए संवेदनशील बनाना ही हमारा लक्ष्य है ताकि वे एक जिम्मेदारी नागरिक की भूमिका का निर्वहण सफलतापूर्वक कर सके। पंजाब नाटशाला की टीम ने सभी टीचर्स को स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मानित किया।विद्यार्थियों को दिशा निर्देश देने के लिए उन्होंने पंजाबी विभाग के टीचर्स मैडम लवप्रीत कौर, मैडम अनुराधा, डॉ पूजा एवं श्री गुरविंदर सिंह के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि वे इसी तरह भविष्य में विद्यार्थियों के ज्ञान का विस्तार करते रहे।

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