अगले साल तक दुनिया में करीब 200 करोड़ इंजेक्शन सिरिंज की कमी हो सकती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन की एक रिपोर्ट में यह बात कही गई है। रिपोर्ट में कहा गया है कि दुनियाभर में कोरोना वैक्सीनेशन की वजह से बड़े पैमाने पर सिरिंज का इस्तेमाल हो रहा है।WHO के डिविजन ऑफ एक्सेस टु मेडिसिन एंड हेल्थ प्रोडक्ट्स की सीनियर एडवाइजर लिसा हेडमैन ने न्यूज एजेंसी को बताया, ‘हमारी असली चिंता यह है कि अगले साल तक हमारे पास वैक्सीनेशन के लिए सिरिंज की कमी हो सकती है। इससे वैक्सीनेशन की रफ्तार धीमी हो सकती है। साथ ही इससे लोगों को कई बीमारियों से बचाने की कोशिशों पर भी गंभीर असर पड़ेगा।’WHO की रिपोर्ट में इस बात की सिफारिश की गई है कि सिरिंज के प्रोडक्शन में तेजी लाने की जरूरत है, क्योंकि इसकी कमी से जमाखोरी के हालात बन सकते हैं। वहीं सिरिंज की सप्लाई घटने से ग्लोबल लेवल पर पैनिक की स्थिति भी बन सकती है। वैक्सीन और सिरिंज के उत्पादन और खपत की जगह में दूरी पर भी इनकी सप्लाई निर्भर करेगी।लिसा हेडमैन ने कहा, ‘जरूरी चीजों की कमी के संकेत वाकई परेशान करने वाले हैं। सिरिंज के मामले में यह कमी 100 से 200 करोड़ तक हो सकती है। समय रहते इससे निपटने के लिए कारगर योजना बनाई जानी चाहिए।’

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