नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को मंत्रियों से कहा है कि वह सार्वजनिक तौर पर ऐसे दावे न करे जिन्हें कि वह पूरा न कर सकें या जो उनके क्षेत्र के नहीं हैं और विविध मुद्दों पर बात करने की जरूरत नहीं है। केवल इतना ही प्रधानमंत्री ने मंत्रिपरिषद् के सदस्यों से कहा कि वह सलाहकार के तौर पर अपने रिश्तेदारों की नियुक्ति न करे।
माना जा रहा है कि प्रधानमंत्री ने यह टिप्पणी इसलिए की है क्योंकि वह मंत्रियों के मीडिया और सार्वजनिक तौर पर गैरजरूरी टिप्पणियों से नाराज हैं। उन्होंने मंत्रियों से साफ तौर पर कहा है कि वे केवल तथ्यों को बताएं या ऐसे दावें करें जो स्थापित हो सकें। मोदी इससे पहले भी मंत्रियों को इस तरह का संदेश दे चुके हैं।
बुधवार को मंत्रिपरिषद की बैठक में पीएम ने कहा कि शासन की गति और दिशा में सुधार के लिए कैबिनेट मंत्रियों और राज्य मंत्रियों के बीच समन्वय जरूरी है। मंत्रियों को भी विभाग के सचिव जैसे शीर्ष अधिकारियों के साथ ही संयुक्त सचिवों, निदेशकों और उप सचिवों से भी संवाद करना चाहिए जिससे उन्हें भी लगे कि वे भी टीम का हिस्सा हैं।
समय का पाबंद होने की नसीहत
पीएम ने मंत्रियों को सुबह साढ़े नौ बजे तक दफ्तर पहुंचने को कहा। उन्होंने कहा कि कुछ मंत्रियों को इस निर्देश पर खास ध्यान देने की जरूरत है। पीएम ने कहा कि उन्होंने कई बार अनुशासन, समय की पाबंदी और काम की प्रतिबद्धता को लेकर सलाह दी है। अगर मंत्री वक्त की पाबंदी करेंगे तो इसका प्रभाव उनके विभाग ही नहीं बल्कि पूरी सरकार के कामकाज पर पड़ेगा।
जम्मू-कश्मीर की योजनाओं पर काम करें मंत्री
मोदी ने मंत्रियों को जम्मू-कश्मीर के विकास की योजनाओं और परियोजनाओं पर काम करने के लिए कहा। उन्होंने राज्य के उन अधिकारियों और छात्रों से संवाद कायम करने का भी आह्वान किया जो देश के विभिन्न हिस्सों में हैं। सूत्रों के मुताबिक बैठक में गृह मंत्री अमित शाह ने कश्मीर की स्थिति पर प्रेजेंटेशन दिया। अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को समाप्त करने पर वह काफी देर बोले। उन्होंने घाटी की स्थिति हो रहे सुधारों की जानकारी दी।
विशेष पैकेज का हो सकता है ऐलान
शाह ने बताया कि पाबंदियां उन्हीं स्थानों पर हैं जहां सुरक्षा को खतरा है। सूत्रों के मुताबिक जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा समाप्त करने के बाद सरकार राज्य में 100 से अधिक केंद्रीय कानून लागू करने के लिए जरूरी आधारभूत ढांचा तैयार करने के लिए जल्द ही करोड़ों का पैकेज घोषित कर सकती है। बैठक में वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने हाल ही में घोषित वित्तीय सुधार के उपायों पर प्रजेंटेशन दिया। उन्होंने बताया कि सरकार ने यह कदम उठाने से पहले सभी संबंधित पक्षों से चर्चा की है।
Disclaimer : यह खबर उदयदर्पण न्यूज़ को सोशल मीडिया के माध्यम से प्राप्त हुई है। उदयदर्पण न्यूज़ इस खबर की आधिकारिक तौर पर पुष्टि नहीं करता है। यदि इस खबर से किसी व्यक्ति अथवा वर्ग को आपत्ति है, तो वह हमें संपर्क कर सकते हैं।