जालंधर से बड़ी ख़बर सामने आई है। बता दें की स्विमिंग पूल में नहाने गए एक बच्चे की मौत हो गई है। बच्चा अपने दोस्तों के साथ स्विमिंग पूल गया था। बच्चे की उम्र सिर्फ 13 वर्षीय की थी । शाम हो गई बच्चा अपने घर नहीं पंहुचा तो घर वालों ने परेशान हो कर बेटे के दोस्तों के साथ पूछताछ की तो उन्होंने बताया की जब वह वहां से निकलने लगे थे तो उसको ढूढ़ा था जिस दौरान एक गार्ड ने बोला की वह तो बाहर की ओर चला गया हैं।
जिसके बाद सभी बच्चें अपने अपने घरो को चले गए। पूछताछ के बाद बच्चे के माँ-बाप स्विमिंग पूल पहुंचे और वहां पर लगे कैमरे की CCTV फुटेज को चैक किया तो आखिरी छलांग लगाने के बाद उनका बेटा स्विमकिंग पूल से बाहर ही नहीं आया था ।
बता दे की बच्चा जालंधर में दनिशमनदा का रहने वाला था और वह अपने दोस्तों के साथ ”रॉयल स्विमिंग पूल” में नहाने के लिए गया था जब वह घर नहीं पंहुचा तो उसके माँ बाप स्विमिंग पूल पहुंचे और वहां देखा तो कही भी उनका बच्चा नजर नहीं आया। जिसके बाद उन्होंने CCTV कैमरे की छानबीन शुरू की जिसमे उन्होंने देखा की उनका लाल जब आखिरी वार छलांग लगाता है तो वो बाहर नहीं आता है। जिसके बाद स्विमिंग पूल में ढूढ़ने के बाद माँ बाप को बच्चे का शव मिला। घर वालों का रो-रो कर हुआ बुरा हाल है।
शव मिलते ही उन्होंने ने पुलिस को सूचना दी मौके पर लांबड़ा थाने की पुलिस वहां पहुंची और शव को कब्जे में ले पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
”रॉयल स्विमिंग पुल” के मालिक बलजीत सिंह ने कहा कि वह खुद भी स्विमिंग जानते हैं। उन्होंने कोच भी रखे हुए हैं। 6 बजे पुल बंद कर दिया गया था। 6.07 पर बच्चे ने छलांग लगाई है। इससे पहले कई बार उसे बाहर आने के लिए कहा गया था। लेकिन सीसीटीवी में साफ दिख रहा है जब कई बच्चे पूल में छलांग मार रहे हैं तो वहां न तो कोई कोच है और न ही कोई लाइफ गाई।पुलिस की मेहरबानी से ये स्विमिंग पूल ऐसे ही चलाया जा रहा था , इसकी जानकारी तो जिला पप्रशासन तक को नहीं थी।
हैरान करने वाली बात तो ये है ये स्विमिंग पूल के अंदर ना तो कोई गार्ड नजर आया और ना ही कोई बचाव अधिकारी आइए आपको डिटेल में समझाते है की जब स्विमिंग पूल को शुरू किया जाता है तो किन-किन चीजों की जरूरत होती है परन्तु रॉयल स्विमिंग पूल के अंदर कोई सुविधा नहीं दी गई थी
स्विमिंग पूल पूल संचालकों को अब पूल शुरू करने से पहले खेल विभाग से लाइसेंस लेना अनिवार्य होगा। इसके लिए आवेदन करने से पहले पूल संचालक को पुलिस, नगर निगम, हुडा सहित कई विभाग से अनापत्ति प्रमाण पत्र लेना होगा। इसके साथ ही उन्हें एक लाख रुपये देने होगा। इसके बाद खेल विभाग के अधिकारी स्विमिंग पूल का निरीक्षण करेंगे। परन्तु रॉयल स्विमिंग पूल के पास इस रिलेटेड कोई भी लइसेंस नहीं मौजूद थे।