नई दिल्ली : दिल्ली सरकार ने कोरोना संकट के चलते अपने सभी कॉलेजों और विश्वविद्यालयों की इस साल आयोजित न हो सकी परीक्षाओं को न करवाने का फ़ैसला लिया है।  दिल्ली सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को सूचित किया है कि दिल्ली राज्य के विश्वविद्यालयों की परीक्षा रद्द कर दी गई है. यूजीसी ने देशभर के विश्वविद्यालयों को अंतिम वर्ष की परीक्षाएं 30 सितंबर तक आयोजित करवाने का निर्देश दिया था जिसका 31 छात्रों ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर विरोध किया है. छात्रों की दलील है कि कोरोना संकट काल में हर जगह हर छात्र के लिए परीक्षाओं में शामिल हो पाना संभव नहीं है।

इस मामले पर आज सुप्रीम में सुनवाई होनी है। ज्ञात रहे की कुछ दिन पूर्व ही यूजीसी ने स्कूल-कॉलेज की परीक्षाओं को लेकर दिशा निर्देश जारी की थीं जिसके मुताबिक 30 सितंबर तक परीक्षा करवानी थी. गृह मंत्रालय से अनुमति मिलने के बाद यूजीसी ने संशोधित गाइडलाइन जारी की थी जिसमें जुलाई में परीक्षा करवाने की अनिवार्यता को खत्म कर दिया गया था. साथ ही अंतिम वर्ष की परीक्षाओं को अनिवार्य बताते हुए इन्हें सितंबर के अंत तक कराने की अनुमति दी गई थी. हालांकि, गाइडलाइन में ये भी कहा गया था कि उचित कारण बताकर अगर कोई छात्र परीक्षा नहीं दे पाता है तो उसे बाद में मौका दिया जाना चाहिए. इस गाइडलाइन में खास जोर अंतिम वर्ष की परीक्षा को लेकर था. पहले और दूसरे वर्ष के छात्रों को आंतरिक मूल्यांकन के आधार पर भी प्रमोट किए जा सकने की बात भी यूजीसी ने कही थी।

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