
लखनऊ : अयोध्या में राम मंदिर की जमीन के बदले प्रस्तावित मस्जिद के लेआउट प्लान को अयोध्या विकास प्राधिकरण (एडीए) ने खारिज कर दिया है. सूचना के अधिकार (आरटीआई) के जवाब में खुलासा हुआ है कि विभिन्न सरकारी विभागों से अनिवार्य अनापत्ति प्रमाणपत्र (एनओसी) जारी न होने के कारण मस्जिद के लेआउट प्लान को मंजूरी नहीं दी गई. मिली जानकारी के अनुसार सुप्रीम कोर्ट ने 9 नवंबर 2019 को अपने ऐतिहासिक पर उत्तर प्रदेश सरकार ने अयोध्या सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड को मस्जिद और अन्य सुविधाओं के निर्माण के लिए पांच एकड़ जमीन आवंटित की थी.
इस आदेश के तहत 3 अगस्त 2020 को तत्कालीन अयोध्या जिलाधिकारी ने अयोध्या के पास धन्नीपुर गांव में पांच एकड़ जमीन सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड को हस्तांतरित की थी. मस्जिद ट्रस्ट ने 23 जून 2021 को इस जमीन पर निर्माण के लिए लेआउट प्लान की मंजूरी के लिए आवेदन किया था. हालांकि, तब से इस योजना की मंजूरी को लेकर कोई प्रगति नहीं हुई है.
सूत्रों के हवाले से लिखा है कि मस्जिद के लेआउट प्लान को मंजूरी न मिलने का कारण विभिन्न सरकारी विभागों से आवश्यक एनओसी का नहीं मिलना है. इन प्रमाणपत्रों के बिना प्राधिकरण ने योजना को आगे बढ़ाने से इनकार कर दिया. यह खुलासा उस समय हुआ है जब अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण तेजी से चल रहा है, जिसे सुप्रीम कोर्ट के उसी फैसले के तहत मंजूरी दी गई थी. सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड और मस्जिद ट्रस्ट की ओर से अभी तक इस मुद्दे पर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है.
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